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वाह योगी जी, शुरू हो गई रसूखदार पेट्रोल पंप मालिको को बचाने की कवायद, चिप पकड़ने पर भी FIR नही

लखनऊ। एसटीएफ और खाद विभाग के अधिकारियों द्वारा लखनऊ के पेट्रोल पम्पो पर चोरी पकड़ने के लिये की गई ताबड़तोड़ छापेबाज़ी से त्रस्त मालिक या तो गिरफ्तार हो रहे है या घर छोड़कर भागे हुए है। यह काबिले तारीफ है कि पेट्रोल पंप अधिकतर रसूखदार वालो के ही है। नेता अभिनेता या असामी ।

अब इलेक्ट्रानिक चिप के जरिए पेट्रोल चोरी के मामले में अब रसुखदार पंप मालिकों को बचाने की कवायद भी शुरू हो गई है। जांच कर्ताओ द्वारा पेट्रोल पंपों पर इलेक्ट्रानिक चिप तो बरामद हो रही हैं, लेकिन घटतोली नहीं पकड़ी जा रही है। इसका हवाला देकर ही अब आरोपी पंप संचालकों के खिलाफ FIR नहीं दर्ज कराई जा रही है।  मशीन को सील कर संबंधित विभागों के द्वारा जांच के बाद आगे  कार्यवाही  करने की बात कही जा रही है।

एसटीएफ की टीम ने राजधानी के सात पेट्रोल पंपों पर छापेमारी कर वहां इलेक्ट्रानिक चिप के जरिए तेल चोरी के बडे मामले का राजफाश किया। इसके बाद प्रदेश में पेट्रोल चोरी का यह खेल उजागर होने लगा। शुरूआत में आरोपी पंप संचालकों व कर्मचारियों के खिलाफ धोखाधडी सहित अन्य धाराओं में रिपार्ट दर्ज की गई। अब तक पांच पंप मालिकों सहित 26 आरोपियों को गिरफ्तार कर जेल भेजा गया। लेकिन पंप चालकों की हडताल को तुडवाने के बाद जब शासन ने पूरे प्रदेश में अभियान चलाने का निर्देश दिया तो उसके बाद कार्यवाही तकनीकी रूप से ढीली पडती चली गई। हालांकि एसटीएफ अधिकारियों को भी शुरूआत में यही आशंका थी कि छापेमारी के एक-दो दिन बाद पंप संचालक अपने यहां से गोरखधंधे के साक्ष्य हटाने में कामयाब हो जाएंगे, लेकिन मशीन से चिप निकालना पंप संचालकों के गले की हड्डी बन गया। सील तोडने पर मशीन के मदरबोर्ड में टेंपरिंग के निशान नही मिटाए जा सके।

अब पंप संचालकों ने रिमोट से इलेक्ट्रानिक चिप के जरिए घटतौली को बंद कर दिया है और रिमोट भी गायब कर दिए है। यही वजह है कि छापेमारी में मशीन में चिप तो मिल रही है, लेकिन घटतौली नहीं पकडी जा रही।  ऐसे में चिप अथवा टेंपरिंग मिलने वाली मशीन को सील किया जा रहा है। सवाल उठता है कि आखिर चिप मिलने पर मुकदमा दर्ज क्यों नहीं कराया जा रहा। जबकि पूर्व में पेट्रोल पंपों में जहांचिप पकडी गई, वहां घटतौली भी पाई गई। रिमोट के जरिए चिप को कंट्रोल करने का खेल भी खुला।

छापेमारी के बाद पेट्रोल पंपो पर अब सही माप से तेल दिया जा रहा है। जिससे अब वाहनों का माइलेज भी बढ गया है।  पेट्रोल पंपों पर तेल लेनेआए वाहन स्वामियों ने बताया कि जब से पेट्रोल पंपों पर छापा पडा है, तब से पेट्रोल पंपों के कर्मचारी व मैनेजर के स्वभाव में काफी बदलाव आया है। एक तो बिना घटतौली के ईधन मिल रहा है, वहीं तेल की गुणवत्ता भी जांचने पर पंपकर्मी भडकते नही है। आम लोगोंकी जिंदगी में रोजमर्रा के खर्चों में ईधन में काफी खर्च होता है। पेट्रोल पंपों पर घटतौली रूकने व उसकी गुणवत्ता जांचने के बाद वाहनों का माइलेज बढ गया है। जिससे आम आदमी के रोज के खर्चे पर कुछ राहत मिलेगी। एसटीएफ के छापे मारने के बाद बाट-माप विभाग की भी आंखे खुली। कुछ पेट्रोल पंपों पर छापा पडने से अन्य पंपों पर इसका असर दिखाई देने लगा है। इन सबका फायदा ग्राहकों को हो रहा है।