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सर्दियों में पानी की कमी से महिलाओं को हो सकती हानिकारक ए जाने कैसे बचे इससे

सर्दी का मौसम हमारे जीवन में कई सारे बदलाव लेकर आता है। खानपान से लेकर रहन-सहन तक इस मौसम में हमारी जीवनशैली पूरी तरह से बदल जाती है। अक्सर कई लोग ठंड आते ही पानी का सेवन कम कर देते हैं। लेकिन ऐसा करना हमारी सेहत के लिए हानिकारक साबित हो सकता है। दरअसल, जिस तरह गर्मी में शरीर को पर्याप्त पानी की जरूरत होती है, वैसे ही सर्दियों में भी शरीर में पानी की पूर्ति जरूरी है। खासकर महिलाओं को ठंड में पानी की कमी होने से परेशानी हो सकती है। ठंड में महिलाओं को अपनी जीवनशैली में क्या बदलाव करने चाहिए, इस बारे में विस्तार से बता रहे हैं स्त्री रोग विशेषज्ञ डॉ. अविनाश पटवारी।

डॉक्टर की मानें तो इस मौसम में महिलाओं को ठंडा पानी पीने के बजाय गुनगुने पानी का सेवन करना चाहिए। साथ ही सर्दियों में फास्ट फूड से परहेज करना चाहिए। जरूरत से ज्यादा तला-गला भोजन भी नुकसान पहुंचाता है। इसलिए बेहतर होगा कि इससे बचें। वहीं, विटामिन सी एक अच्छा एंटी-आक्सीडेंट है। ऐसे में ठंड में इसका भरपूर सेवन करना चाहिए। साथ ही सूखे मेवे खानी भी फायदेमंद साबित होगा।

गर्भवती महिलाएं रखें विशेष ध्यान
डॉक्टर रहते हैं कि इस सीजन में गर्भवती महिलाओं को अपनी सभी जांचें नियमित रूप से करवानी चाहिए और लगातार डॉक्टर से संपर्क में रहना चाहिए। साथ ही इस मौसम में आने वाली फल और सब्जियों का पर्याप्त सेवन करना चाहिए, ताकि वह खुद को स्वस्थ रख सकें। उन्होंने यह भी कहा कि अक्सर परिवार की देखभाल में व्यस्त महिलाएं अपनी सेहत को लेकर लापरवाह हो जाती हैं। वे अपने ही खानपान पर ध्यान नहीं देती हैं। इसलिए यह बेहद जरूरी है कि वे अपने लिए भी समय निकालें।

नियमित रूप से करें व्यायाम
डॉ.पटवारी के मुताबिक महिलाओं अपनी सेहत का खास ख्याल रखना चाहिए। ऐसे में यह जरूरी है कि वह नियमित रूप से हल्के व्यायाम करें। पैदल चलना भी एक अच्छा व्यायाम है। इसलिए रोजाना कम से कम 30 मिनट पैदल जरूर चलें। मौसम में लगातार हे रहे बदलाव की वजह से अक्सर राम ठंडक और दिन में गर्मी का अहसास होने लगता है। ऐसे में इस मौसम में वायरल इंफेक्शन भा काफी बढ़ जाता है। इसलिए अतिरिक्त सावधानी जरूरी है।

कुछ देर धूप जरूर सेंकें
ठंड के मौसम में बेहद जरूरी है कि आप सीधे इसके संपर्क में आने से बचें। ऐसे में कोशिश करें कि आप बहुत सुबह घर से बाहर निकलने से बचें। साथ ही जब भी घर से बाहर निकलें, तो खुद को गर्म कपड़ों से अच्छी तरह से ढंककर निकलें। अगर ठहलने जा रही हैं, तो ठंडक कम होने के बाद ही बाहर निकलें। साथ ही शरीर में विटामिन डी की पूर्ति करने के लिए रोजाना सुबह कुछ देर धूप में अवश्य बैठें। धूप विटामिन डी का प्राकृतिक स्रोत है।