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विपक्षी एकता के मंच से ओडिशा की सत्ताधारी पार्टी ने क्यों बना रखी थी दूरी?

भुवनेश्वर। कर्नाटक में जेडीएस-कांग्रेस की सरकार के शपथ ग्रहण में विपक्षी एकता देखने को तो मिली लेकिन फिर भी कुछ राजनीतिक दल ऐसे रहे जिन्होंने कांग्रेस और बीजेपी की इस सियासी लड़ाई में उचित दूर बनाए रखी. जेडीएस के कुमारस्वामी के शपथ ग्रहण में जहां, बीएसपी, एसपी, टीएमसी, टीडीपी, टीआरएस और सीपीएम जैसे दल शामिल हुए वहीं ओडिशा में सत्ताधारी बीजू जनता दल ने इससे उचित दूरी बनाए रखी. बीजू जनता दल (BJD) के एक नेता ने कहा कि ओडिशा के मुख्यमंत्री नवीन पटनायक ने बुधवार को कर्नाटक में एच डी कुमारस्वामी के मुख्यमंत्री पद के शपथग्रहण समारोह में शामिल नहीं हुए क्योंकि पार्टी कांग्रेस और बीजेपी दोनों से ही समान दूरी बनाए हुए है.

बीजेडी के महासचिव अरुण कुमार साहू ने कहा , ‘‘ यह साफ है कि बीजेडी पूरी तरह से क्षेत्रीय दल है जिसका कांग्रेस और बीजेपी जैसे राष्ट्रीय दलों से कोई लेना देना नहीं है. ’’ शपथ ग्रहण समारोह में कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी, उनकी मां एवं यूपीए अध्यक्ष सोनिया गांधी , पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी, आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री एन चंद्रबाबू नायडू और केरल के मुख्यमंत्री पी विजयन जैसे देश के प्रमुख नेता शामिल हुए.

बीजेपी ने समारोह का बहिष्कार करते हुए बुधवार को ‘‘ काला दिवस ’’ मनाया और जद (एस)- कांग्रेस सरकार को ‘‘ अपवित्र ’’ गठबंधन सरकार बताते हुए पूरे राज्य में विरोध प्रदर्शन किए. साहू ने पटनायक के समारोह में शामिन ना होने पर कहा , ‘‘ पिछले 18 सालों से मुख्यमंत्री किसी भी दूसरे राज्य में शपथ ग्रहण समारोह में शामिल नहीं हुए हैं. वह बीजेडी द्वारा शुरू किए गए ‘ महानदी बचाओ ’ अभियान के दूसरे चरण और साथ ही राज्य सरकार के ‘ अमा गांव अमा विकास ’ कार्यक्रम में व्यस्त हैं. ’’

साहू ने उन सवालों का जवाब नहीं दिया कि पार्टी के किसी प्रतिनिधि को शपथ ग्रहण समारोह में भेजा गया या नहीं. बीजेडी सूत्रों ने कहा कि पटनायक के पूर्व प्रधानमंत्री एच डी देवगौड़ा के परिवार के साथ ‘‘ काफी अच्छे संबंध ’’ हैं , लेकिन उन्होंने शपथ ग्रहण समारोह में ना जाने को तरजीह दी ताकि वह कांग्रेस नेताओं सोनिया गांधी एवं राहुल गांधी के साथ ना दिखें.