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पूर्वांचल एवं बुन्देलखण्ड क्षेत्र के विकास के संबंध में गठित मंत्रि परिषद की उप समिति की हुई बैठक

लखनऊ। उत्तर प्रदेश के वित्त, संसदीय कार्य एवं चिकित्सा शिक्षा मंत्री श्री सुरेश कुमार खन्ना की अध्यक्षता में पूर्वांचल एवं बुन्देलखण्ड क्षेत्र के चतुर्दिक विकास के संबंध में गठित मंत्रि परिषद की उप समिति की आज योजना भवन में पहली बैठक हुई। बैठक में चिकित्सा एवं स्वास्थ्य मंत्री श्री जय प्रताप सिंह एवं जलशक्ति मंत्री डा0 महेन्द्र सिंह भी उपस्थित थे।
उप समिति द्वारा पूर्वांचल तथा बुन्देलखण्ड क्षेत्रों में मातृ एवं शिशु से संबंधित विभिन्न स्वास्थ्य संकेतांकों में सुधार, साक्षरता की दर को शतप्रतिशत कराकर शिक्षा की गुणवत्ता में सुधार, युवाओं को कौशल प्रशिक्षण, कृषि एवं कृषि उत्पादन से संबंधित प्रतिव्यक्ति की आय में सुधार तथा महिला स्वयं सहायता समूह का गठन एवं माइक्रो फाइनेंस की सुविधा उपलब्ध कराये जाने के संबंध में उप समिति कार्य करेगी। समिति इन सभी 05 बिन्दुओं पर तीन माह में एक विस्तृत कार्ययोजना तैयार कर इसका कार्यान्वयन सुनिश्चित करायेगी।
श्री सुरेश कुमार खन्ना ने सभी विभागों को निर्देश दिए कि इन बिन्दुओं को केन्द्र में रखते हुए विस्तृत सुझाव प्रस्तुत करें। उन्होंने कहा कि सुझाव व्यावहारिक हों जिन्हें क्रियान्वित कराया जा सके। उन्होंने कहा कि सभी विभाग अपनी कार्ययोजना तैयार कर 30 अप्रैल, 2021 तक उपलब्ध करा दें। कृषि उत्पादन आयुक्त द्वारा अवगत कराया गया कि प्रदेश सरकार द्वारा एफपीओ पाॅलिसी तैयार कर ली गई है। प्रत्येक ब्लाक में एक-एक एफपीओ बनेगा, जिसके माध्यम से किसानों को फसलों का सही मूल्य मिल सकेगा। इसका उद्देश्य मुख्य रूप से विशिष्ट क्षेत्रों के लिए विशिष्ट फसलों को निश्चित करना तथा मार्केट देना है। मिश्रित खेती को बढ़ावा देने से कृषकों की आय में वृद्धि हो रही है। गन्ना के पेड़ी प्रबंधन पर ध्यान दिया जा रहा है। इजराइल की कृषि तकनीकी से फर्टीलाइजर का प्रयोग 60 प्रतिशत कम हो रहा है। वित्त मंत्री ने गन्ना उत्पादन में सुधार के लिए रिसर्च पर और अधिक ध्यान दिए जाने पर बल दिया। पशुधन विभाग द्वारा अवगत कराया गया कि कृषकों की आय में 28 प्रतिशत आय पशुपालन से है। बुन्देलखण्ड क्षेत्र में भेड़ एवं बकरी पालन को बढ़ावा दिया जाना चाहिए।
जलशक्ति मंत्री ने कहा कि नमामि गंगे एवं ग्रामीण जलापूर्ति विभाग को भी समिति के एजेन्डे में शामिल किया जाना चाहिए। उन्होंने कहा कि इस तथ्य पर विचार किया जाय कि फसल की बुवाई और कटाई के मध्य किसानों के बचे हुए समय में कृषकों को ऐसे अवसर प्रदान किए जायं, जिसके माध्यम से इनकी आय में वृद्धि हो।
बैठक के दौरान आर्थिक सलाहकार मुख्यमंत्री डा0 के0वी0 राजू, अपर मुख्य सचिव गन्ना श्री संजय आर. भूस रेड्डी, प्रमुख सचिव पशुधन श्री भुवनेश कुमार, प्रमुख सचिव पोषण मिशन वी. हेकाली झिमोमि एवं अन्य वरिष्ठ अधिकारी तथा कर्मचारी उपस्थित थे।

प्रथम बार गन्ना किसानों को ऑनलाइन घोषणा.पत्र भरने की सुविधा

लखनऊ। प्रदेश के आयुक्तए गन्ना एवं चीनी श्री संजय आरण् भूसरेड्डी ने पेराई सत्र 2021.22 के वास्ते गन्ना सर्वेक्षण नीति जारी कर दी है। उन्होंने बताया कि प्रत्येक पेराई सत्र में गन्ने के सम्भावित उत्पादन को ध्यान में रखकर चीनी मिलों के गन्ना क्षेत्र का निर्धारण तथा किसानों द्वारा चीनी मिलों कोए की जाने वाली गन्ने की आपूर्ति की योजना तैयार की जाती है। गन्ना उत्पादन के सही आंकलन के लिये बोये गये गन्ने के क्षेत्र का सही सर्वेक्षण एक अत्यन्त महत्वपूर्ण एवं आधारभूत कार्य है।
श्री भूसरेड्डी ने बताया कि गन्ना सर्वेक्षण का कार्य 01 मई से शुरू होकर 30 जूनए 2021 तक सम्पन्न होगा। सर्वे कार्य में शुद्धताएपारदर्शिता और गन्ना किसानों की समस्याओं के त्वरित निस्तारण के दृष्टिगत तथा डिजिटलाइजेशन को बढ़ावा देने के लिए श्ैड।त्ज् ळ।छछ।

ज्ञप्ै।छ च्त्व्श्रम्ब्ज्श् के तहत विकसित म्ण्त्ण्च्ण् में भ्ंदक भ्मसक ब्वउचनजमत क्मअपबम ;भ्ण्भ्ण्ब्ण्द्ध के माध्यम से सर्वे कार्य कराया जायेगा।
उन्होंने बताया कि इस वर्ष गन्ना किसानों को उनके बोये गये क्षेत्रफल के संबंध में मदुनपतलण्बंदमनचण्पद वेबसाइट पर घोषणा.पत्र ऑनलाइन अपलोड करने की सुविधा प्रदान की गयी है। घोषणा.पत्र का प्रारूप भी सरलीकृत किया गया। घोषणा पत्र के साथ अपनी एवं गाटा संख्या की पहचान हेतु यह भी अनिवार्य किया गया है कि घोषणा पत्र के साथ अपनी पहचान हेतु गन्ना कृषक को आधार कार्ड देना होगाए आधार कार्ड न होने पर मतदाता पहचान पत्रध्ड्राइविंग लाईसेन्स ध्पासपोर्टध्पैन कार्ड अथवा बैंक पासबुक के फोटो वाले पृष्ठ की छायाप्रति जो स्वप्रमाणित की गई हो तथा राजस्व खतौनी की स्व.प्रमाणित प्रति वेबसाइट पर अपलोड करनी होगी।
गन्ना सर्वेक्षण के प्रयोजन हेतु प्रत्येक चीनी मिल क्षेत्र में स्टाफ की उपलब्धता के अनुरूप 750 से 1000 हेक्टेयर तक की अस्थायी सर्किलें बनायी जायेगी और गन्ना सर्वेक्षण टीम में एक कर्मचारी राजकीय गन्ना पर्यवेक्षक या समिति का कर्मचारी होगा और साथ में एक कर्मचारी चीनी मिल का भी होगा। आयुक्त ने बताया कि गन्ना सर्वेक्षण टीम में उन्ही कर्मचारियों को रखा जायेगा जो सर्वेक्षण की मूल भूत जानकरी रखते हों। इतना ही नहींए सर्वेक्षण टीम का एक अनिवार्य प्रशिक्षण भी कराया जायेगा।
उल्लेखनीय है कि गन्ना क्षेत्र का सर्वेक्षण जीण्पीण्एसण् द्वारा कराये जाने के फलस्वरूप सर्वेक्षण में पारदर्शिता और शुद्धता रहती हैए साथ ही जीण्पीण्एसण् से सर्वे किये जाने पर समय की बचत की साथ व्यय भी कम होगा एवं बिचौलियों की भूमिका समाप्त होगी।  इसलिए गन्ने के सर्वेक्षण में शत.प्रतिशत जीण्पीण्एसण् का प्रयोग किया जायेगा। सर्वेंक्षण उपरान्त हैण्ड हेल्ड कम्प्यूटरध्एन्ड्रायड बेस्ड मशीन से चारों भुजायें नापकर सर्वे स्लिप मौके पर उपस्थित गन्ना कृषकों को उपलब्ध करायी जायेगी।
गन्ना सर्वेक्षण के समय गन्ने की किस्मए फसल की दशाएपौधशालाए मानसून गन्ना बुवाईध्शरदकालीन गन्ना बुवाईध्ग्रीष्मकालीन गन्ना बुवाई वाले खेतों एवं ड्रिप इरीगेशनए सहफसली खेती आदि का विवरण तथा आदर्श मॉडल प्लाट के अन्तर्गत प्रत्येक गन्ना विकास परिषद में चयनित उत्तम कृषकों का विवरण भी दर्ज किया जायेगा। गन्ना सर्वेक्षण कार्य की प्रगति और गुणवत्ता का अनुश्रवण समय.समय पर संबंधित गन्ना समिति के अध्यक्षए जिला गन्ना अधिकारी और क्षेत्रीय उप गन्ना आयुक्त व मुख्यालय से गठित जांच दल द्वारा किया जायेगा इसके अतिरिक्त मुख्यालय के अधिकारियों द्वारा भी सर्वे कार्य का औचक निरीक्षण किया जायेगा।
सर्वेक्षण के दौरान ग्राम स्तरीय गोष्ठियों में नये सदस्यों का भी पंजीकरण कराया जायेगा। पेराइ सत्र 2021.22 के लिये 30 सितम्बरए 2021 तक बनाये गये सदस्यों को ही गन्ना आपूर्ति की सुविधा मिलेगी। गन्ना सर्वेक्षण के दौरान गन्ना समिति के नयेध्वारिस सदस्यता हेतु भी किसानों से आवेदन लिये जायेगें। उपज बढ़ोत्तरी हेतु भी कृषकों के आवेदन पत्र गन्ना सर्वेक्षण कार्य प्रारम्भ करने से लेकर 30 सितम्बरए 2021 तक निर्धारित शुल्क के साथ संकलित किये जायेगें। सर्वे कार्य के दौरान प्रशिक्षण एवं अन्य कार्यक्रमों में कोविड.19 के दृष्टिगत सोशल डिस्टेन्सिंग एवं सेनेटाइजेशन आदि के संबंध में जारी दिशा.निर्देशों का पालन किया जायेगा।

आबकारी विभाग द्वारा पकडे़ गये 1470 अभियोग व 1,21,309 ली. अवैध शराब बरामद पकड़े गये 1470 मुकदमे 1,21,309 ली0 अवैध शराब बरामद

लखनऊ। श्री संजय आर. भूसरेड्डी, अपर मुख्य सचिव द्वारा अवगत कराया गया है कि प्रदेश में त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव को देखते हुए अवैध शराब के निर्माण, बिक्री एवं तस्करी की रोकथाम हेतु लगातार दबिश एवं चेकिंग की कार्यवाही की जा रही है। इसी क्रम में आबकारी विभाग द्वारा माह अप्रैल के विगत दस दिवसों में प्रदेश में 1470 मुकदमे पकड़े गये, जिसमें 1,21,309  ली. अवैध शराब बरामद की गयी तथा शराब बनाने हेतु तैयार किये गये 2,16,665 कि.ग्रा. लहन को मौके पर नष्ट किया गया। अवैध मदिरा के कार्य में संलिप्त 680 व्यक्तियों को गिरफ्तार किया गया तथा 66 वाहनों को जब्त किया गया।
अपर मुख्य सचिव द्वारा यह भी बताया गया कि माह अप्रैल में जनपद मुरादाबाद के गॉंव मिलक खेमपुर में अवैध शराब की फैक्ट्री पर पर छापा मारकर 1675 अवैध पौव्वे, अल्कोहलोमीटर, पैकेजिंग मशीन, भारी मात्रा में ढ़क्कन, नकली क्यू.आर.कोड., नकली लेबल आदि सामग्रियों के साथ 04 व्यक्तियों के खिलाफ मुकदमा पंजीकृत कराया गया। जनपद गौतमबुद्धनगर में रोड चेकिंग के दौरान 504 बोतल आफिसर च्वाइस अवैध विदेशी मदिरा के साथ 02 वाहनों को जब्त करते हुए 02 अभियुक्तों को गिरफ्तार किया गया। जनपद शामली के बिडौली चेकपोस्ट पर एक स्विफ्ट कार से 180 बोतल अवैध विदेशी मदिरा बरामद करते हुए 03 व्यक्तियों के विरूद्ध एफ.आई.आर. दर्ज कराया गया। जनपद प्रतापगढ़ के बाबूगंज बाजार से 224 पेटी बियर, 600 पेटी विदेशी मदिरा तथा 65 पेटी देशी शराब बरामद किया गया। जनपद बागपत में रोड चेकिंग के दौरान एक कार से अरूणांचल प्रदेश में बिक्री हेतु अनुमन्य 37 पेटी अवैध मदिरा बरामद किया गया। जनपद रामपुर में राष्ट्रीय राजमार्ग पर चेकिंग के दौरान एक कैण्टर में 1000 पेटी अवैध देशी शराब बरामद करते हुए 03 अभियुक्तों को गिरफ्तार किया गया।  जनपद आजमगढ़ में देशी शराब दुकान सरायमीर से 124 देशी शराब के अपमिश्रित पौव्वों के साथ 06 ली0 अपमिश्रित शराब, नकली ढ़क्कन, नकली क्यू.आर.कोड पकड़ा गया। इस कार्यवाही में अनुज्ञापी तथा 02 सेल्स मैनों के विरूद्ध सम्बन्धित थानें में एफ.आई.आर. दर्ज कराया गया। जनपद सहारनपुर में देशी शराब दुकान नौगांव तथा दुकान के पास स्थित गोदाम से 59 पेटी अवैध मदिरा के साथ नकली ढ़क्कन, खाली शीशी, शराब बनाने सम्बन्धी अन्य सामग्री तथा 02 वाहनों को बरामद करते हुए दुकान के अनुज्ञापी सहित 06 व्यक्तियों के खिलाफ मुदकमा पंजीकृत कराया गया तथा दुकान का अनुज्ञापन तत्काल प्रभाव से निलम्बित किया गया।
अपर मुख्य सचिव द्वारा बताया गया कि त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव को देखते हुए अवैध शराब के निर्माण एवं बिक्री विरूद्ध छापेमारी की कार्यवाही निरन्तर जारी रहेगी तथा इन कार्यों में संलिप्त लोगों को किसी भी हाल में बख्शा नहीं जायेगा।

मोहसिन रज़ा ने देशवासियों व प्रदेशवासियों को रमजान की हार्दिक शुभकामनाएं और दिली मुबारकबाद दी

लखनऊ। उत्तर प्रदेश के अल्पसंख्यक कल्याण, वक्फ एवं हज राज्य मंत्री श्री मोहसिन रज़ा ने आज अपने एक संदेश में देशवासियों और प्रदेशवासियों को रमजान की हार्दिक शुभकामनाएं और दिली मुबारकबाद दी। उन्होंने कहा कि हम सब जानते है कि रमजान बहुत मुबारक महीना होता है। यह महीना इबादत के साथ-साथ एक एहसास भी हमें कराता है कि जब हम रोजे में हों, हम अपने आसपास, समाज में, अपने घर और पड़ोस में कौन परेशान है इसके लिए इबादत करें ताकि हम खुद भी बचें और दूसरों को भी बचायें।
उन्होंने कहा कि जो एहसास रोज़ा रखते वक्त होता है उसे दूसरों तक पहुंचायें। हमारे दीन ने, हमारे मजहब ने, हमको क्या सीख दी है उन सब चीजों को मद्दे नजर रखते हुए हमें किसी की जान बचाने के लिए नमाज छोड़ना पड़ जाये, तो हमें नमाज छोड़कर जान बचानी होगी। इस्लाम का पहला मूल मंत्र है कि हम इंसानी जानों को बचाएं। उन्होंने कहा कि इस बार रमजान मनाएंगे और रमजान में इबादत भी करेंगे, नमाज भी पढ़ेंगे। लेकिन भीड़ और सोशल डिस्टेंसिंग का ख्याल रखते हुए।
उन्होंने कहा कि कोविड-19 महामारी से स्वयं को और दूसरों को भी बचाने के लिए इसकी गाइडलाइन्स का पालन करना बहुत जरूरी है। जिन्दगी बचाने के लिए इबादत हम घर पर भी कर सकते हैं। यही हमारा दीन कहता है। रमजान के दौरान हम एक दूसरे की चिंता करते हुए घर में रहकर इबादत करेंगे और एक दूसरे के लिए दुआ भी करेंगे। जिससे कि कोरोना जैसी वबा जल्द से जल्द पूरे देश एवं दुनिया से ख़त्म हो। हम सब सुरक्षित रहेंगे, तो फिर से जिस तरह से हम ईद मनाया करते थे वह ईद का अवसर हम सबको ऊपर वाला फिर से देगा।