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सिद्धू की रिहाई के आदेश नहीं आने से उनके समर्थक मायूस, पत्नी का फूटा गुस्सा

पंजाव कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष नवजोत सिद्धू को गणतंत्र दिवस पर जेल से रिहाई नहीं मिल सकी। इस कदम के बाद एक महीने से चली आ रही अटकलों पर विराम लग गया कि उन्हें 50 अन्य जेल कैदियों के साथ गणतंत्र दिवस की पूर्व संध्या पर रिहा कर दिया जाएगा। क्रिकेटर से नेता बने इमरान पिछले साल मई से पटियाला सेंट्रल जेल में बंद हैं और सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद एक साल की जेल की सजा काट रहे हैं। सिद्धू और उनके दोस्त रूपिंदर सिंह संधू को 1988 के रोड रेज मामले में दोषी ठहराया गया था, जिसके परिणामस्वरूप 65 वर्षीय गुरनाम सिंह की मौत हो गई थी, जिसे कथित तौर पर सिद्धू ने पीटा था। इसके बाद सिंह को अस्पताल ले जाया गया, जहां पहुंचने पर उन्हें मृत घोषित कर दिया गया।

सिद्धू की रिहाई नहीं होने से उनके समर्थक जहां मायूस हैं वहीं पत्नी एवं पूर्व विधायक नवजोत कौर सिद्धू ने पंजाव सरकार को आड़े हाथों लिया है। उन्होंने ट्वीट करते हुए कहा कि नवजोत सिंह सिद्धू खूंखार जानवर की श्रेणी में आते हैं, इसलिए सरकार उन्हें आजादी के 75वें वर्ष पर राहत नहीं देना चाहती है। आप सभी से अपील है कि उनसे दूर रहें। पंजाब प्रदेश कांग्रेस कमेटी (पीपीसीसी) के पूर्व अध्यक्ष शमशेर सिंह दुल्लो, एम.एस. केपी और अन्य वरिष्ठ कांग्रेस नेताओं ने सिद्धू के पटियाला स्थित आवास पर एक प्रेस कॉन्फ्रेंस की और मोदी सरकार की आलोचना करते हुए कहा कि बीजेपी नहीं चाहती थी कि वह भारत जोड़ो यात्रा में शामिल हों, जो वर्तमान में जम्मू-कश्मीर में अपनी यात्रा के अंतिम चरण में है और 30 जनवरी को श्रीनगर में समापन होगा।

बता दें कि बेहतर आचरण के दम पर यह माना जा रहा था कि सिद्धू को रिहा किया जा सकता है। सिद्धू की रिहाई को लेकर पिछले कई दिनों से तैयारियां चल रही थीं। सिद्ध समर्थकों ने पटियाला से लेकर अमृतसर तक जगह-जगह होर्डिंग तक लगा दिए थे। पिछले दो दिनों से सिद्धू का पटियाला घर उनके समर्थकों का केंद्र बना हुआ था। सिद्धू ने रिहाई की आस में कसरत करने वाले सभी सामान को घर भेज दिया था।