नई दिल्ली। महिलाओं की सुरक्षा के लिए कई कदम उठाने की बात कहने वाले अरविंद केजरीवाल ने दिल्ली के मुख्यमंत्री का पद संभालने के बाद से अभी तक महिलाओं की सुरक्षा और कानून-व्यवस्था पर एक भी बैठक नहीं बुलाई है। सूचना के अधिकार (आरटीआई) के तहत मांगी गई जानकारी के बाद इस बात का दावा किया गया है।
यह आरटीआई आवेदन बीजेपी के प्रवक्ता हरीश खुराना की तरफ से दाखिल किया गया था। मुख्यमंत्री कार्यालय, दिल्ली पुलिस कमिश्नर आलोक कुमार वर्मा और लेफ्टिनेंट गवर्नर नजीब जंग की तरफ से मिले जवाब के बाद उन्होंने इस बात की जानकारी दी।
खुराना ने आरटीआई के जरिए 14 फरवरी 2015 से लेकर 9 जून 2016 तक की अवधि के बारे में जानकारी मांगी थी। इसमें उन्होंने इस वक्त के दौरान केजरीवाल द्वारा कानून व्यवस्था और महिलाओं की सुरक्षा पर बुलाई गई बैठकों के बारे में जानकारी मांगी थी। जवाब में कहा गया कि दिल्ली सरकार के पास इस बारे में कोई भी ब्योरा उपलब्ध नहीं है।
इस जवाब का हवाला देते हुए खुराना ने दावा किया कि इस वक्त के दौरान केजरीवाल ने इन मुद्दों पर कभी भी गृह मंत्री राजनाथ सिंह, केंद्रीय गृह सचिव राजीव महर्षि या लेफ्टिनेंट गवर्नर नजीब जंग से मुलाकात नहीं की।
खुराना ने कहा, ‘आरटीआई से पता चलता है कि अरविंद केजरीवाल महिला सुरक्षा और कानून व्यवस्था जैसे अहम मुद्दों पर कितने गंभीर हैं। वह इस बात के लिए केंद्र सरकार की आलोचना करते हैं कि उन्हें पर्याप्त ताकत नहीं दी जा रही है लेकिन उन्हें जो संवैधानिक ताकतें मिली हैं, वह उनका इस्तेमाल नहीं कर रहे हैं।’