मेरठ मेरठ के शताब्दीनगर में चल रही पंडित प्रदीप मिश्रा की शिवमहापुराण के दाैरान भीड़ अनियंत्रित हो गई। इस दाैरान कई महिलाए एंट्री को लेकर गिर पड़ीं। उन्हें मामूली चोट आई हैं, उन्हें दूसरे गेट से एंट्री दिलाई गई। कथा सुचारू रूप से जारी है।
मेरठ के शताब्दी नगर में चल रही प्रदीप मिश्रा की शिवमहापुराण के दाैरान भीड़ अनियंत्रित हो गई। एंट्री गेट पर कई महिलाएं गिर पड़ीं। महिलाओं को हल्की चोटें भी आई हैं। बताया गया कि कथा का आज छठा और अंतिम दिन है।
आज ढाई लाख पहुंची श्रद्धालुओं की संख्या
हर दिन जहां डेढ़ लाख श्रद्धालु कथा सुनने पहुंच रहे थे वहीं आज श्रद्धालुओं की संख्या ढाई लाख पहुंच गई। बताया गया कि व्यवस्था बनाने में काफी दिक्कत आई। भीतर की तरफ पंडाल पूरी तरह फुल हो गया, जबकि बाहर बड़ी संख्या में श्रद्धालु एकत्र हो गए थे। इनमें काफी संख्या में महिलाएं भी थीं। बाहर जमा श्रद्धालुओं में अफरा-तफरी का माहाैल बन गया। इस दाैरान कई महिलाएं मामूली रूप से चोटिल हो गईं।
हर दिन जहां डेढ़ लाख श्रद्धालु कथा सुनने पहुंच रहे थे वहीं आज श्रद्धालुओं की संख्या ढाई लाख पहुंच गई। बताया गया कि व्यवस्था बनाने में काफी दिक्कत आई। भीतर की तरफ पंडाल पूरी तरह फुल हो गया, जबकि बाहर बड़ी संख्या में श्रद्धालु एकत्र हो गए थे। इनमें काफी संख्या में महिलाएं भी थीं। बाहर जमा श्रद्धालुओं में अफरा-तफरी का माहाैल बन गया। इस दाैरान कई महिलाएं मामूली रूप से चोटिल हो गईं।
ये बोले आयोजक
हालांकि आयोजकों को कहना है कि कथा स्थल पर भगदड़ नहीं मची बल्कि बाहर ज्यादा संख्या में श्रद्धालु पहुंचे, ऐसे में पंडाल के बाहर जमा श्रद्धालुओं की व्यवस्था बनाने में परेशानी हुई। इस दाैरान कुछ महिलाएं गिर गईं। फिलहाल व्यवस्था बनाई जा रही है। पुलिस माैके पर माैजूद है। बताया गया कि कथा स्थल के सभी पंडाल फुल हो चुके हैं। जितनी जनता पंडाल के अंदर थी। उससे ज्यादा पंडाल के बाहर रही। अंतिम दिन होने के कारण कई जगह बैरिकेडिंग की गई है।
हालांकि आयोजकों को कहना है कि कथा स्थल पर भगदड़ नहीं मची बल्कि बाहर ज्यादा संख्या में श्रद्धालु पहुंचे, ऐसे में पंडाल के बाहर जमा श्रद्धालुओं की व्यवस्था बनाने में परेशानी हुई। इस दाैरान कुछ महिलाएं गिर गईं। फिलहाल व्यवस्था बनाई जा रही है। पुलिस माैके पर माैजूद है। बताया गया कि कथा स्थल के सभी पंडाल फुल हो चुके हैं। जितनी जनता पंडाल के अंदर थी। उससे ज्यादा पंडाल के बाहर रही। अंतिम दिन होने के कारण कई जगह बैरिकेडिंग की गई है।