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देखमुख के आरोप पर पुलिस का दावा- अगर मृतक नशे में थे, तब भी केस पर नहीं पड़ेगा असर

पुणे:  पोर्श कार दुर्घटना मामले में मृतकों की विसरा रिपोर्ट से छेड़छाड़ के आरोपों के बाद पुणे पुलिस ने गुरुवार को स्पष्टीकरण दिया। पुलिस का कहना है कि मृतकों की विसरा रिपोर्ट से केस पर कोई असर नहीं पड़ेगा, क्योंकि पोर्श कार के नाबालिग चालक ने बाइक को पीछे से टक्कर मारी थी।

महाराष्ट्र के पूर्व गृहमंत्री और राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (शरदचंद्र पवार) के नेता अनिल देशमुख ने आरोप लगाया था कि मृतकों की विसरा रिपोर्ट से छेड़छाड़ कर यह दिखाने की कोशिश की जा रही है कि मृतकों ने शराब पी रखी थी, जिसकी वजह से यह दुर्घटना हुई। ताकि बिल्डर के बेटे को जल्द रिहा किया जा सके।

देशमुख ने एक्स पर लिखा, पुणे पोर्श दुर्घटना मामले में यह बात सामने आई है कि राजनीतिक दबाव में आरोपियों के रक्त के नमूने बदले गए और यह रिपोर्ट तैयार करने की कोशिश की गई कि पोर्श कार के नाबालिग चालक ने शराब नहीं पी थी। मेरी जानकारी में यह बात भी सामने आई है कि मृतकों की विसरा रिपोर्ट में शराब को पॉजिटिव दिखाने की तैयारी की गई है, ताकि कोर्ट में साबित किया जा सके कि मरने वाले आईटी इंजीनियर नशे में थे, जिसका लाभ बिल्डर के बेटे की जल्द रिहाई में मिल सके।

मृतकों की पुलिस को नहीं मिली विसरा रिपोर्ट
देशमुख के इस आरोप के बाद पुणे पुलिस आयुक्त अमितेश कुमार ने स्पष्टीकरण दिया। उन्होंने कहा कि अभी तक पुलिस को आईटी इंजीनियरों की विसरा रिपोर्ट नहीं मिली है। उन्होंने स्पष्ट किया कि यदि यह पता चल भी जाए कि बाइक सवार आईटी इंजीनियर नशे में थे, तो भी इससे केस पर कोई असर नहीं पड़ेगा। उन्होंने बताया कि आरोपी किशोर द्वारा चलाई जा रही पोर्श कार ने बाइक को पीछे से टक्कर मारी थी, इसलिए मृतकों के शराब के नशे में होने से कोई फर्क नहीं पड़ेगा।

19 मई को कल्याणी नगर में हुई थी घटना
बता दें कि 19 मई को पुणे के कल्याणी नगर में पोर्श कार ने बाइक को टक्कर मार दी थी। हादसे में बाइक सवार दो आईटी इंजीनियरों की मौत हो गई थी। दोनों मृतकों की पहचान अनीश अवधिया और अश्विनी कोष्टा के रूप में हुई थी। आरोप है कि पोर्श कार को 17 वर्षीय किशोर चला रहा था, जो घटना के वक्त नशे में था।