देशभर में होली की उमंग देखी जा रही है। रंग-गुलाल के आनंद के साथ लजीज पकवान इस त्योहार को काफी खास बना देते हैं। हालांकि पिछले कुछ वर्षों के आंकड़े उठाकर देखें तो पता चलता है कि होली के दिन और इसके बाद में, अस्पतालों में शराब पीने के कारण होने वाली समस्याओं के शिकार लोगों की भीड़ बढ़ जाती है। त्योहार के समय की गई आपकी छोटी सी भूल गंभीर स्वास्थ्य समस्याओं का कारण बन सकती है।
स्वास्थ्य विशेषज्ञ कहते हैं, होली में आनंद के नाम पर लोग बहुत अधिक शराब पी लेते हैं, जिसके कारण अल्कोहल पॉइजनिंग का खतरा बढ़ जाता है। रक्त में बहुत अधिक अल्कोहल होने से आपका शरीर इसे अच्छी तरह से बाहर नहीं निकाल पाता है और कुछ स्थितियों में इसके गंभीर और जानलेवा दुष्प्रभाव भी हो सकते हैं। आइए जानते हैं कि ये समस्या कितनी खतरनाक हो सकती है और शरीर पर इसका क्या असर होता है?
क्या होती है अल्कोहल पॉइजनिंग?
अल्कोहल पॉइजनिंग का मतलब कम समय में भारी मात्रा में शराब पीने के कारण होने वाली स्वास्थ्य समस्याओं से है। होली के दौरान ये मामले अधिक देखे जाते रहे हैं। अल्कोहल पॉइजनिंग का जोखिम भले ही बहुत ज्यादा शराब पीने के कारण होता है पर स्वास्थ्य विशेषज्ञ कहते हैं, डायबिटीज-हृदय रोग और अन्य क्रोनिक बीमारियों के शिकार लोगों के लिए थोड़ी शराब भी गंभीर समस्याओं का कारण बन सकती है।शराब पीने से श्वास, हृदय गति, शरीर का तापमान और पाचन तंत्र प्रभावित हो जाता है। कुछ मामलों में इससे कोमा जैसी समस्या भी हो सकती है। स्वास्थ्य विशेषज्ञ सभी लोगों को शराब से बिल्कुल दूरी बनाने की सलाह देते हैं।
कैसे जानें कहीं आपको भी तो नहीं हो गई है अल्कोहल पॉइजनिंग?
शराब का सेवन या इसके कारण होने वाली अल्कोहल पॉइजनिंग से हमारी सेहत को कई प्रकार से नुकसान पहुंचने का खतरा हो सकता है। कम समय में अधिक शराब पीने से आपका शरीर इसे रक्त से ठीक तरीके से फिल्टर नहीं कर पाता है। रक्त में बहुत अधिक अल्कोहल होने के कारण उल्टी होने, बेहोशी, भ्रम की स्थिति के साथ हृदय गति कम होने, सांस लेने में कठिनाई, शरीर का तापमान कम होने (जिसे हाइपोथर्मिया भी कहा जाता है) जैसी दिक्कत भी हो सकती है।