नई दिल्ली: रेलवे त्योहार पर यात्रियों को सुरक्षित सफर कराने के लिए सात हजार दिवाली और छठ स्पेशल ट्रेनें चलाएगा। गुरुवार को कैबिनेट बैठक में इस फैसले को मंजूरी दी गई। केंद्रीय रेल और सूचना प्रसारण मंत्री अश्विनी वैष्णव ने बताया कि इस फैसले से रोज दो लाख यात्रियों को बड़ी राहत मिलेगी। इसके अलावा बैठक में दो बड़ी रेल परियोजनाओं को मंजूरी दी गई।
कृष्णा नदी पर बनेगा 3.2 किमी लंबा नया पुल
केंद्रीय रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने कहा कि पहली रेल परियोजना के तहत अमरावती के लिए एक रेलवे लाइन को मंजूरी दी गई है। इसके लिए कृष्णा नदी पर 3.2 किमी लंबा नया रेलवे पुल बनाया जाएगा। यह अमरावती को हैदराबाद, चेन्नई, कोलकाता और नागपुर से जोड़ेगा। इसके साथ ही उत्तर बिहार को उत्तर पूर्वी राज्यों से जोड़ने के लिए नरकटियागंज – रक्सौल – सीतामढ़ी- दरभंगा और सीतामढी – मुजफ्फरपुर रेलवे लाइन का दोहरीकरण किया जाएगा। 4553 करोड़ रुपये की लागत से 256 किलोमीटर लंबी रेलवे लाइन का दोहरीकरण होने से उत्तर प्रदेश और उत्तर बिहार को फायदा होगा।
313 किमी तक बढ़ जाएगा रेलवे नेटवर्क
केंद्रीय रेल मंत्री ने कहा कि नरकटियागंज-रक्सौल-सीतामढ़ी-दरभंगा और सीतामढी-मुजफ्फरपुर खंड के दोहरीकरण से नेपाल, पूर्वोत्तर भारत और सीमावर्ती क्षेत्रों से कनेक्टिविटी मजबूत होगी और मालगाड़ी के साथ-साथ यात्री ट्रेनों की आवाजाही में सुविधा होगी। वहीं 57 किमी लंबी नई रेल लाइन एर्रुपलेम-अमरावती-नंबुरु आंध्र प्रदेश के विजयवाड़ा और गुंटूर जिलों और तेलंगाना के खम्मम जिले से होकर गुजरेगी। उन्होंने कहा कि आंध्र प्रदेश, तेलंगाना और बिहार के आठ जिलों को कवर करने वाली 6,798 करोड़ की इन रेल परियोजनाओं से रेलवे नेटवर्क 313 किमी तक बढ़ेगा। साथ ही नौ नए स्टेशनों के साथ लगभग 168 गांवों और लगभग 12 लाख आबादी को लाभ मिलेगा। इसके अलावा 31 एमटीपीए (मिलियन टन प्रति वर्ष) का अतिरिक्त माल यातायात होगा। रेलवे के मुताबिक नई लाइन के प्रस्ताव से आंध्र प्रदेश के अमरावती को सीधी कनेक्टिविटी मिलेगी।
वेंचर कैपिटल फंड को मंजूरी
कैबिनेट बैठक में केंद्रीय मंत्रिमंडल ने अंतरिक्ष क्षेत्र में स्टार्टअप को बढ़ावा देने के लिए 1,000 करोड़ रुपये के वेंचर कैपिटल फंड की स्थापना को भी मंजूरी दी।
उत्तर रेलवे ने की थी 3050 ट्रेनें चलाने की घोषणा
हाल ही में त्योहार को देखते हुए उत्तर रेलवे ने ही 3050 विशेष ट्रेनें चलाने की घोषणा की थी। इनमें से अधिकांश ट्रेनें ऐसी हैं जो उत्तर प्रदेश, बिहार, झारखंड और पूर्वोत्तर राज्यों की ओर दौड़ेंगीं। इस बार चलाई जा रहीं ट्रेनें पिछले साल के मुकाबले 172 फीसदी ज्यादा हैं। उत्तर रेलवे ने पिछले साल 1082 विशेष ट्रेनें चलाई थीं।