देश की अर्थव्यवस्था 2032 तक बढ़कर 10 लाख करोड़ डॉलर तक पहुंच जाएगी। अगले छह वर्षों तक हर 18वें महीने में इसमें एक लाख करोड़ डॉलर की बढ़त होगी। आईडीबीआई कैपिटल ने शनिवार को जारी रिपोर्ट में कहा, 2030 तक भारत तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था के रूप में उभरेगा।
6 साल तक हर 18वें महीने 1 करोड़ डॉलर की वृद्धि की उम्मीद
रिपोर्ट के अनुसार, देश की तेज वृद्धि मुख्य रूप से विनिर्माण क्षेत्र के दम पर होगी। यह क्षेत्र सकल मूल्यवर्धित (जीवीए) में 32 फीसदी का योगदान कर सकता है। मेक इन इंडिया जैसी प्रमुख पहलों से देश की विनिर्माण क्षमताओं को बढ़ाने और भारत को वैश्विक विनिर्माण केंद्र के रूप में स्थापित करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाने की उम्मीद है।
तेजी से विकास के लिए देश तैयार है
रिपोर्ट के मुताबिक, कोरोना महामारी के कारण अर्थव्यवस्था को बढ़ने में थोड़ी देरी हुई। इससे 2024 के अंत तक चार लाख करोड़ डॉलर तक पहुंचने की समयसीमा बढ़ गई, लेकिन अब आने वाले वर्षों में तेजी से विकास के लिए देश तैयार है।
आईआईपी में शीर्ष पांच देशों से आगे होगा भारत
रिपोर्ट के मुताबिक, भारत औद्योगिक उत्पादन सूचकांक (आईआईपी) में अमेरिका, चीन, जर्मनी, दक्षिण कोरिया व जापान जैसे देशों को पछाड़कर विनिर्माण के क्षेत्र में अग्रणी वैश्विक अर्थव्यवस्थाओं से आगे निकल जाएगा।