कोलकाता: पश्चिम बंगाल मेडिकल काउंसिल ने आरजी कर अस्पताल के पूर्व प्रिंसिपल संदीप घोष का पंजीकरण रद्द कर दिया है। मामले में संबंधित अधिकारी ने बताया कि संदीप घोष सीबीआई हिरासत में है और उस पर गंभीर आरोप लगे हैं। पश्चिम बंगाल मेडिकल काउंसिल (डब्ल्यूबीएमसी) ने गुरुवार को आरजी कर के पूर्व प्रिंसिपल संदीप घोष के पंजीकरण को 19 सितंबर को डब्ल्यूबीएमसी की तरफ से बनाए गए पंजीकृत मेडिकल प्रैक्टिशनर्स की सूची से हटा दिया गया है। उन्होंने कहा कि बंगाल मेडिकल एक्ट, 1914 के कई प्रावधानों के तहत उनका लाइसेंस रद्द कर दिया गया। बता दें कि आरजी कर मेडिकल कॉलेज और अस्पताल में महिला डॉक्टर के साथ दुष्कर्म-हत्या के अलावा अस्पताल की वित्तीय अनियमितता को लेकर भी संदीप घोष कटघरे में है।
आरजी कर केस को लेकर डॉक्टरों को प्रदर्शन
इस मामले में मुख्य आरोपी संजय रॉय के अलावा आरजी कर अस्पताल के पूर्व प्रिंसिपल संदीप घोष और ताला पुलिस थाने के थाना प्रभारी अभिजीत मंडल से सीबीआई से पूछताछ कर रही है।आरजी कर मेडिकल कॉलेज-अस्पताल बीते 8-9 अगस्त से ही विवादों में है। अस्पताल के सेमिनार हॉल में 31 वर्षीय महिला डॉक्टर के साथ दुष्कर्म और हत्या के बाद चिकित्सकों में काफी आक्रोश है, राज्य में जूनियर डॉक्टर लगातार हड़ताल कर रहे हैं।
कल मुख्य सचिव के साथ डॉक्टरों की बैठक रही बेनतीजा
एक दिन पहले ही आरजी कर मामले में अपनी मांगों को लेकर प्रदर्शन कर रहे जूनियर डॉक्टरों ने राज्य के मुख्य सचिव मनोज पंत के साथ वार्ता की। पश्चिम बंगाल सरकार और जूनियर डॉक्टरों की करीब दो घंटे चली बैठक बेनतीजा रही। सचिवालय में राज्य के मुख्य सचिव मनोज पंत के साथ बैठक के बाद डॉक्टरों ने कहा कि वे हताश और निराश हैं। बैठक में हमने अपने मुद्दे रखे लेकिन सरकार ने उस पर हस्ताक्षर नहीं किए, हम लिखित आश्वासन चाहते हैं। डॉक्टरों ने कहा कि वे हड़ताल वापस लेना चाहते हैं लेकिन सरकार से लिखित आश्वासन नहीं मिलने के चलते हड़ताल जारी रखने का फैसला किया।