बागपत: एनडीए सरकार में रालोद अध्यक्ष चौधरी जयंत सिंह का मंत्री बनना तय हो गया है। शपथ ग्रहण के लिए उनको बुलावा भी आया है। इस तरह चौधरी परिवार दस साल बाद केंद्रीय मंत्रिमंडल में दिखाई देगा। जयंत के मंत्री बनने से बागपत के साथ ही पश्चिमी उत्तर प्रदेश के कई जिलों को बड़ा फायदा होने की उम्मीद है।
भाजपा से गठबंधन के वक्त ही एनडीए की सरकार बनने पर रालोद को एक मंत्री पत्र दिए जाने की बात तय हुई थी। मगर पुराने संसद भवन में एनडीए की बैठक में रालोद अध्यक्ष चौधरी जयंत सिंह के तीसरी पंक्ति में बैठने पर विपक्षी पार्टियों के नेताओं ने सवाल उठाना शुरू कर दिया था कि रालोद को अब मंत्रीमंडल में शामिल किए जाने पर संशय है।
रालोद के वरिष्ठ नेताओं के अनुसार शपथ ग्रहण समारोह से पहले दिन शनिवार को चौधरी जयंत सिंह के पास बुलावा आ गया है। उनको मंत्रिमंडल में शामिल किया जाएगा, मगर यह साफ नहीं हो सका है कि उन्हें कैबिनेट मंत्री बनाया जाएगा या राज्यमंत्री की शपथ दिलाई जाएगी। मगर यह जरूर है कि इससे रालोद के नेता व कार्यकर्ता काफी उत्साहित है और चौधरी परिवार की तीसरी पीढ़ी भी केंद्र में मंत्री बनेगी।
वर्ष 2014 तक मंत्री रहे अजित सिंह
चौधरी अजित सिंह वर्ष 2009 में भाजपा के साथ चुनाव लडक़र सांसद बने थे। वह वर्ष 2011 में भाजपा का साथ छोड़कर कांग्रेस के साथ गए और चौधरी अजित सिंह नागरिक उड्डयन मंत्री बने जो 2014 में चुनाव होने तक मंत्री पद पर बने रहे। यह माना जाता है कि अजित सिंह के पैरोकारी करने पर ही चुनाव से पहले जाटों को केंद्र में आरक्षण दिया गया था।
बागपत समेत पश्चिम यूपी के अधिकतर जिलों को फायदा होगा
रालोद को मंत्री पद मिलने पर सबसे ज्यादा फायदा बागपत को होगा। क्योंकि बागपत जयंत का नोडल जिला है और यहां के सहारे ही अन्य जगह बजट भेजा जाता है। ऐसे में जयंत के मंत्री बनने से बागपत में विकास कार्य बेहतर हो सकते हैं। इससे केवल बागपत ही नहीं, बल्कि पश्चिम यूपी के अन्य जिलों को भी फायदा मिलने की उम्मीद है।