भारत के दूसरे सबसे अमीर उद्योगपति गौतम अदाणी (Gautam Adani) के लिए साल 2023 काफी मुश्किलों भरा रहा है. इस साल जनवरी के महीने में उन्हें मेरिकी शॉर्ट सेलिंग कंपनी हिंडनबर्ग रिसर्च ( Hindenburg Research ) के मनी लॉन्ड्रिंग से लेकर शेयर मैनिपुलेशन, फ्रॉड ट्रांजेक्शन, अकाउंटिंग फ्रॉड जैसे गंभीर आरोपों का सामना करना पड़ा.
ग्रुप लगातार आरोपों का खारीज करता रहा. अदाणी से अपने एजीएम में रिपोर्ट पर चुप्पी तोड़ते हुए, इसे भारत पर कैलकुलेटेड अटैक करार दिया था. मगर, मामले की जांच सेबी के द्वारा की गयी. इसके कारण, कंपनी को करोड़ों रुपये का नुकसान उठाना पड़ा था. अदाणी ग्रुप की नौ पब्लिक लिमिटेड कंपनियों की मार्केट वैल्यू में 150 बिलियन डॉलर के आसपास कम हो गयी. अदाणी एंटरप्राइजेज के शेयर की कीमत अभी भी बाजार में 18 प्रतिशत कम है. हालांकि, अब कंपनी के लिए एक बड़ी राहत की खबर है. अदाणी ग्रुप की कंपनियों का घाटा काफी हद तक कम हो गया है. समाचार एजेंसी रॉयटर्स के मुताबिक, अदाणी ग्रुप का घाटा शुक्रवार तक घटकर केवल 64 बिलियन डॉलर रह गया है. साथ ही, रिसर्च रिपोर्ट के बाद भी, अदाणी पोर्टस के शेयर 36 प्रतिशत और अदाणी पॉवर के शेयर में करीब 18 प्रतिशत मुनाफा दे रहे हैं.
अदाणी ग्रुप में EBITDA बढ़ा
रिपोर्ट के मुताबिक, अदाणी ग्रुप ने संकट से निकलने के लिए मजबूत स्टैटिजी बनायी. इसके तहत, ग्रुप ने GQG और Abu Dhabi conglomerate International Holding (IHC.AD) जैसे बड़े निवेशकों के साथ हाथ मिलाया. इससे शेयरहोल्डिंग को मजबूती मिली. हालांकि, इस दौरान कंपनी ने स्टॉक से समर्थित लोन का भी रीपेमेंट किया. कंपनी ने तीन मजबूत फ्रंट पर काम करना शुरू किया. रैपिड ग्रोथ, लिवरेज और वैल्यूएशन में लगातार सुधार के बारे में सोचा. अब ग्रुप का नेट प्रॉफिट करीब 22 बिलियन डॉलर के करीब है. साथ ही, EBITDA (कैश फ्लो के लिए प्रॉक्सी) भी काफी हद तक बढ़ गया है. कंपनी का कंसॉलिडेटेड रेशियो 3.3 गुना से घटकर 2.5 गुना हो गया. LSEG की रिपोर्ट के मुताबिक, मार्केट कैप के अनुसार, चार सबसे बड़े बिजनेस कमाई से 89 और 202 गुना व्यापार कर रहे हैं. जबकि, हिंडनबर्ग रिसर्च से पहले ये रेट 315 से 845 गुना था. हिंडनबर्ग रिसर्च की जांच पर सुप्रीम कोर्ट से कंपनी के पक्ष में सकारात्मक टिप्पणी से कंपनी को काफी फायदा मिला. इससे बाजार में कंपनी के शेयर रॉकेट हो गए.
सुप्रीम कोर्ट ने क्या कहा
उच्चतम न्यायालय ने कहा कि हिंडनबर्ग रिपोर्ट में अडाणी समूह के खिलाफ लगे आरोपों की जांच करने वाले बाजार नियामक सेबी पर संदेह करने की कोई वजह नहीं है. उसने कहा कि बाजार नियामक की जांच के बारे में भरोसा नहीं करने के लायक कोई भी तथ्य उसके समक्ष नहीं है. इसके साथ ही शीर्ष अदालत ने कहा कि वह हिंडनबर्ग रिपोर्ट में किए गए दावों को पूरी तरह तथ्यों पर आधारित नहीं मानकर चल रहा है. पीठ ने कहा कि उसके समक्ष कोई तथ्य न होने पर अपने स्तर पर विशेष जांच दल (एसआईटी) का गठन करना उचित नहीं होगा. मुख्य न्यायाधीश डी वाई चंद्रचूड़ की अध्यक्षता वाली एक पीठ ने अडाणी-हिंडनबर्ग मामले से संबंधित पक्षों की दलीलें सुनने के बाद अपना आदेश सुरक्षित रख लिया. न्यायालय ने कुछ मीडिया रिपोर्ट के आधार पर सेबी को अदाणी-हिंडनबर्ग मामले की जांच के लिए कहे जाने पर आपत्ति जताई. उसने कहा कि वह एक वैधानिक नियामक को मीडिया में प्रकाशित किसी बात को अटल सत्य मानने को नहीं कह सकता है.
पिछले सप्ताह अदाणी की हुई जबरदस्त कमाई
सुप्रीम कोर्ट के कंपनी की तरफ सकारात्मक रुख के कारण, शेयर बाजार में अदाणी समूह के स्टॉक में तेजी देखने को मिली. ग्रुप के पिछले सोमवार को करीब एक लाख करोड़ रुपये की कमाई की. पिछले सप्ताह बीएसई सेंसेक्स 1,511.15 अंक यानी 2.29 प्रतिशत चढ़ गया जबकि निफ्टी में 473.2 अंक यानी 2.39 प्रतिशत की बढ़त रही. जियोजीत फाइनेंशियल सर्विसेज के शोध प्रमुख विनोद नायर का मानना है कि जीडीपी के अनुमान से बेहतर आंकड़े वित्त वर्ष 2023-24 के लिए वृद्धि का नजरिया देंगे और इससे बाजार को तेजी की रफ्तार कायम रखने का उत्साह मिलेगा. इसके अलावा वाहनों के मासिक बिक्री आंकड़ों से भी उत्साह नजर आया. भारत का सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) वृद्धि दर जुलाई-सितंबर तिमाही में उम्मीद से कहीं अधिक 7.6 प्रतिशत रही. इस तरह भारत ने दुनिया की सबसे तेजी से बढ़ती प्रमुख अर्थव्यवस्था का अपना दर्जा बरकरार रखा है.