दिल्ली-एनसीआर में वायु प्रदूषण की स्थिति गंभीर हो गयी है।वायु गुणवत्ता प्रबंधन आयोग (सीएक्यूएम) ने वायु गुणवत्ता स्तर में और गिरावट को रोकने के लिए तत्काल प्रभाव से पूरे एनसीआर में ग्रैप-4 के तहत 8-सूत्रीय कार्य योजना लागू की है।
दिल्ली में सभी तरह की कंस्ट्रक्शन और डिमोलिशन की गतिविधियों पर पूर्ण प्रतिबंध रहेगा। दिल्ली और एनसीआर के राज्यों के स्कूलों में प्राथमिक के अलावा माध्यमिक और शिक्षा विद्यालयों को भी ऑनलाइन क्लासेस लगाने की छूट रहेगी। संबंधित राज्य इस संबंध में निर्णय ले सकते हैं। केंद्र सरकार अपने कर्मचारियों को घर से काम करने की सुविधा दे सकती है। इसके अलावा राज्य सरकारी गैर जरूरी गतिविधियों और आवाजाही पर भी रोक लगा सकती है। शैक्षणिक संस्थाओं को बंद रखना के लिए कह सकती है। साथ ही सम-विषम के माध्यम से परिवहन को अनुमति दे सकती है।
पाबंदियों के चलते अब दिल्ली में जरूरी सामान के अलावा अन्य किसी भी सामग्री को ले जा रहे ट्रकों की एंट्री पर प्रतिबंध होगा। इसके अलावा हल्के वाणिज्यिक वाहनों पर भी इसी तरह का प्रतिबंध लगाया गया है। हालांकि इलेक्ट्रिक वाहनों और सीएनजी वाहनों को इससे छूट रहेगी। उल्लेखनीय है कि आज सुबह 5 बजे दिल्ली का औसत एक्यूआई 454 था। यह लगातार प्रतिकूल मौसम और जलवायु परिस्थितियों के कारण अपराह्न 03 बजे बढ़कर 463 हो गया था।
माना जा रहा है कि प्रतिकूल मौसम संबंधी स्थितियों, खेतों में आग लगाने की बढ़ती घटनाओं के साथ कम गति वाली उत्तर-पश्चिमी हवाएं प्रदूषकों को दिल्ली की ओर ले जा रही हैं। इसके चलते एक्यूआइ में अचानक वृद्धि हुई है। पर्यावरण मंत्रालय के अनुसार आयोग ने नागरिकों से सहयोग करने और ग्रैप के नागरिक चार्टर का पालन करने का आग्रह किया है। बच्चे, बुजुर्ग और श्वसन, हृदय, मस्तिष्कवाहिकीय या अन्य पुरानी बीमारियों वाले लोग बाहरी गतिविधियों से बचें और जितना संभव हो घर के अंदर रहें।
एनसीआर राज्यों के प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (पीसीबी) और डीपीसीसी सहित ग्रैप के तहत उपायों को लागू करने के लिए जिम्मेदार एजेंसियों को स्टेज- I, स्टेज- II और स्टेज- III के अलावा ग्रैप के स्टेज- IV के तहत कार्यों के सफल और सख्त कार्यान्वयन को सुनिश्चित करने के लिए अधिकृत किया गया है।