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16,000 पूर्व सैनिक करेंगे रिलायंस की संपत्ति की सुरक्षा

pd logनई दिल्ली। रिलायंस इंडस्ट्रीज ने अपनी संपत्तियों की सुरक्षा के लिए 16,000 पूर्व सैन्यकर्मियों को अपनी संपत्तियों की सुरक्षा के लिए भर्ती किया है। 57 अरब डॉलर की मुकेश अंबानी की कंपनी ने अपनी ऊर्जा और आर्थिक संपत्तियों की सुरक्षा के मकसद से सैन्यकर्मियों और कमांडो को भर्ती किया है। कंपनी ने जिन पूर्व सैन्यकर्मियों को भर्ती किया है, उनमें वह लोग भी शामिल हैं, जिन्होंने कारगिल युद्ध के दौरान पाकिस्तान से लोहा लिया था और मुंबई हमले में आतंकियों से मुठभेड़ की थी।
इसके अलावा अहमदाबाद के अक्षरधाम मंदिर में आतंकी हमले की साजिश को नाकाम करने वाले सैन्यकर्मियों को भी कंपनी ने अपनी सुरक्षा के लिए हायर किया है। रिलायंस सूत्रों के हवाले से ‘द हिंदू’ की रिपोर्ट के मुताबिक कंपनी ने ग्लोबल कॉरपोरेट सिक्योरिटी के नाम से इन लोगों को भर्ती किया है। यही नहीं कंपनी ने जिन सुरक्षाकर्मियों को शामिल किया है, उनमें इन्फॉर्मेशन सिक्योरिटी एक्सपर्ट्स भी शामिल हैं। कंपनी का मानना है कि सूचना तंत्र से जुड़े एक्सपर्ट्स के जरिए उसे अपने डेटा को सुरक्षित रखने में मदद मिल सकेगी।

कंपनी के एक सूत्र ने बताया कि आईटी एक्सपर्ट्स को सुरक्षा और तकनीकी चुनौतियों से निपटने के लिए प्रशिक्षण कर दिया गया है। 18.9 बिलियन डॉलर यानी करीब 1,29,871 करोड़ रुपये की भारी संपत्ति के साथ देश के सबसे अमीर व्यक्ति को सरकार की ओर से जेड प्लस सिक्योरिटी दी गई है। इसके अलावा दुनिया की सबसे बड़ी रिफाइनरियों में शामिल जामनगर की उनकी कंपनी की सुरक्षा का जिम्मा सीआईएसएफ के पास है। सीमा पार से रिलायंस कंपनी को धमकी मिलने के बाद उसकी सुरक्षा का जिम्मा सीआईएसएफ को दिया गया था।

रिलायंस के एक अधिकारी ने बताया कि जामनगर की रिफाइनरी में सीआईएसएफ के 200 कर्मी सुरक्षा में तैनात हैं। लेकिन रिलायंस ने जीसीएस का गठन देश भर में कंपनी की अन्य यूनिटों की सुरक्षा के लिए किया गया है। अधिकारी ने नाम न छापने की शर्त पर बताया कि जीसीएस के जरिए सुरक्षाकर्मियों को प्रशिक्षित किया जाएगा ताकि वह देश भर में फैली कंपनी की संपत्तियों को सुरक्षा प्रदान कर सकें।