मुजफ्फराबाद। कश्मीर को भारत के हिस्से से लेने के लिए लड़ रहे पाकिस्तान स्थित आतंकी ग्रुपों के चीफ ने बुधवार को भारत के आरोपों पर पाक सरकार द्वारा हुई कार्रवाई की खुलेआम निंदा की है। भारत ने पठानकोट में एयर बेस पर आतंकी हमले के लिए इन्हीं ग्रुपों को जिम्मेदार ठहराया है। पाकिस्तान समर्थक और पाक के कब्जे वाले कश्मीर में स्थित आतंकियों के समूह यूनाइटेड जिहाद काउंसिल (यूजेसी) के चीफ सैयद सलाहुद्दीन ने दो जनवरी को भारत के पठानकोट में एयर फोर्स के बेस पर हुए आतंकी हमले की जिम्मेदारी का दावा किया था।
भारत की सुरक्षा एजेंसियों ने इस दावे को संशयी नजरों से देखा था। इंडिया ने इस हमले के लिए जैश-ए-मोहम्मद को जिम्मेदार ठहराया था। पिछले हफ्ते पाकिस्तान ने जैश-ए-मोहम्मद चीफ के साथ इस संगठन के अन्य नेताओं को अरेस्ट किया था। पाकिस्तान ने इस संगठन से जुड़े दफ्तरों और सेमीनारों को बंद करा दिया था।
सलाहुद्दीन की इस सार्वजनिक टिप्पणी से दोनों परमाणु हथियार संपन्न देशों के बीच एक बार फिर से तनाव उत्पन्न होने की आशंका प्रबल हो गई है। नई दिल्ली हमेशा से कहती रही है कि पाकिस्तान भारत के साथ शत्रुता रखने वाले समूहों को पनाह देता है। पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर की राजधानी मुजफ्फराबाद के प्रेस क्लब में सलाहुद्दीन बोल रहा था। पुलिस बाहर खड़ी थी लेकिन उसने अरेस्ट करने की हिम्मत नहीं जुटाई। दो जनवरी को इंडियन एयर फोर्स बेस पर हमले के बाद यूनाइटेड काउंसिल ने चेतावनी दी थी कि कश्मीर पर भारत अड़ा रहा तो इस तरह के हमले देश भर में होंगे।
पठानकोट में हमले के बाद पाकिस्तान ने कहा था कि कठोर नीति अपनाकर जैश-ए-मोहम्मद पर शिकंजा कसा गया है। भारत लंबे वक्त से कहता रहा है कि ऐसे आतंकी संगठनों को पाकिस्तान अपनी जमीन पर पाल-पोस रहा है। भारत ने दावा किया है कि पठानकोट में हमले की रणनीति पाकिस्तान में बनी थी। भारत ने पाकिस्तान से मांग की है कि वह इन ग्रुपों के खिलाफ सख्त कार्रवाई करे। पिछले हफ्ते दोनों देशों ने इस हमले की जांच पूरी होने तक विदेश सचिवों के बीच होने वाली वार्ता को टाल दिया था। 2001 में भारतीय संसद पर हमले के मामले में भी भारत ने जैश-ए-मोहम्मद को जिम्मेदार ठहराया था। इस हमले के बाद दोनों देशों के बीच युद्ध की स्थिति हो गई थी।