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चीन ने घुसपैठ से इनकार किया, पीओके में अपनी सेना की मौजूदगी का सीधा जवाब नहीं दिया

chinese-armyबीजिंग। चीन ने पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर में एक अग्रिम चौकी पर पीपुल्स लिबरेशन आर्मी (पीएलए) के सैनिकों की मौजूदगी की खबरों का कोई सीधा जवाब नहीं दिया और भारतीय सीमा में अपने सैनिकों की फिर से घुसपैठ के आरोपों से इनकार किया। चीन के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता लू कोंग ने एक संवाददाता सम्मेलन में पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर में नौगाम सेक्टर के सामने एक अग्रिम चौकी पर पीपुल्स लिबरेशन आर्मी के सैनिकों की मौजूदगी के बारे में पूछे जाने पर कहा, ‘आपने जिस घटना का उल्लेख किया मैंने उसके बारे में नहीं सुना।’

लद्दाख सेक्टर में पीएलए सैनिकों की घुसपैठ की खबरों से जुड़े सवाल के जवाब में चीनी विदेश मंत्रालय की वेबसाइट पर लू के हवाले से कहा गया, ‘यह पता चला है कि चीन के सीमा सैनिक वास्तविक नियंत्रण रेखा के चीनी सीमा में सामान्य गश्त कर रहे थे। सीमा पार करने जैसी कोई चीज नहीं हुई। कुछ मीडिया समूहों ने तथ्यों को तोड़-मरोड़ दिया और चीन-भारत सीमा प्रश्न को बढ़ा-चढ़ाकर पेश किया।’

उन्होंने कहा, ‘हमें इस बात का गहरा खेद है कि मीडिया इस तरह के मुद्दे को रह-रहकर उछालता रहता है। (भारत और चीन के बीच) द्विपक्षीय संबंधों में सुधार की अच्छी गति हासिल हुई है। मैत्री सहयोग द्विपक्षीय संबंधों का आधार है।’ लू ने साथ ही कश्मीर मुद्दे पर चीन के रुख को दोहराया और कहा कि ‘कश्मीर मुद्दे पर चीन का रुख एक समान रहा है।’

उन्होंने कहा, ‘हमारा मानना है कि प्रासंगिक मुद्दा भारत और पाकिस्तान के बीच इतिहास का एक बचा हुआ मुद्दा है। हमारा कहना है कि दोनों देशों को इसे बातचीत एवं मशविरे से उचित तरीके से सुलझाना चाहिए।’ यह पूछे जाने पर कि क्या पीएलए सैनिकों की मौजूदगी 46 अरब डॉलर वाले चीन-पाकिस्तान आर्थिक गलियारे के कार्य से जुड़ी हुई है, जिस पर भारत ने अपना विरोध दर्ज कराया है, कोंग ने मात्र कश्मीर मुद्दे पर चीन के रुख को दोहराया।