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गैस त्रासदी के सभी आरोपी 3,800 मौतों के जिम्मेदार

gas-tragedyभोपाल। विश्व की सबसे बड़ी औद्योगिक त्रासदियों में से एक भोपाल गैस त्रासदी को 31 साल हो चुके हैं। सदी के एक चौथाई हिस्से से भी ज्यादा वक्त के बाद सीबीआई ने इस त्रासदी के आरोपियों को कड़ी से कड़ी सजा दिलाने के लिए कमर कस ली है।

सभी सात दोषियों में से हर एक को 3,800 मौतों का जिम्मेदार ठहराते हुए, सीबीआई उनके खिलाफ सख्त से सख्त कार्रवाई करने की सिफारिश करेगी।

दोषियों ने उनके खिलाफ की जा रही कार्रवाई के संबंध में याचिका दी थी। सीबीआई की काउंसिल इसी याचिका पर सुनवाई के दौरान जिला न्यायालय और सेशन जज के समक्ष अपने सबूत सजा के प्रस्ताव रखेगी।

गुरुवार को 7 आरोपियों में से एक एस आई कुरैशी की ओर से याचिका दायर की गई थी। हालांकि वह कोर्ट में मौजूद नहीं था। सुनवाई के दौरान कोर्ट में आरोपी जय मुकुंद, एस पी चौधरी, किशोर कामदार, वी पी गोखले मौजूद थे।

केंद्रीय गृह मंत्रालय के एक अधिकारी ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट और सेशन कोर्ट्स ने करीबन पांच साल पहले इन आरोपियों के खिलाफ लगाई गई धाराओं को और सख्त करने के सुझाव दिए थे, जिसके बाद अब सीबीआई ने उस दिशा में अब यह कदम उठाया है।

3 से 4 दिसंबर की दरमयानी रात को हुई को इस भयावह दुर्घटना के बाद यूनियन कार्बाइड प्लांट का चेयरमैन वॉरेन एंडरसन 7 दिसंबर, 1984 को भारत आया था और उसकी सुरक्षित यूएस वापसी में तत्कालीन अर्जुन सिंह की सरकार ने उसकी मदद की थी। सीबीआई ने इसका हवाला देकर अर्जुन सिंह सरकार के खिलाफ भी आपराधिक कार्रवाई करने की सिफारिश की है।