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अमेरिका ने बताया, कितना खतरनाक है चीन

ashton-carterन्यू यॉर्क। अमेरिका के रक्षा मंत्री एश्टन कार्टर ने कहा कि विवादित दक्षिण चीन सागर में चीन के कदम क्षेत्रीय तनाव बढ़ा रहे हैं और एशिया प्रशांत क्षेत्र के देश बड़े स्तर पर चीनी सैन्यीकरण पर चिंता व्यक्त कर रहे हैं। कार्टर ने भारत और फिलीपीन की यात्रा पर रवाना होने की पूर्व संध्या पर एक शीर्ष अमेरिकी थिंक टैंक काउंसिल ऑन फॉरन रिलेशन्स के समक्ष कहा, ‘हाल में एशिया प्रशांत से आ रहे सभी समाचार सकारात्मक नहीं हैं: वास्तविकता यह है कि दक्षिण चीन सागर में खासकर चीन के कदम क्षेत्रीय तनाव पैदा कर रहे हैं।’

उन्होंने कहा, ‘इसीलिए एशिया प्रशांत के देश खासकर पिछले वर्ष हुए सैन्यीकरण और चीनी कदमों पर चिंता व्यक्त कर रहे हैं। वे उच्च स्तर पर क्षेत्रीय बैठकों और वैश्विक सभाओं में सार्वजनिक एवं निजी तौर पर चिंताएं व्यक्त कर रहे हैं।’ कार्टर ने कहा कि यही कारण है कि इनमें से कई देश उन नियमों और सिद्धांतों को बरकरार रखने के लिए अमेरिका से फिर से संपर्क कर रहे हैं जिनके कारण क्षेत्र ने तरक्की की है। उन्होने कहा, ‘इसीलिए हम गहन क्षेत्रीय कूटनीति का समर्थन करते हैं, न कि बढ़े हुए तनाव, बल के खतरे या यथास्थिति में एकतरफा बदलाव का।’

कार्टर ने कहा, ‘और यही वह कारण है जिसके कारण हम हमारी क्षमताओं में भारी निवेश कर रहे हैं, इसलिए इतने अधिक देश हमें उनके साथ सहयोग करने के लिए कह रहे हैं और इसलिए हम हर उस स्थान पर उड़ान भरना, नौवहन करना और संचालन करना जारी रखेंगे जहां अंतरराष्ट्रीय कानून हमें इसकी अनुमति देता हैं। क्योंकि हमें उस प्रगति को जारी रखना चाहिए जिसने क्षेत्र में इतने अधिक देशों को विकास करने और समृद्ध बनने में मदद की है।’

उन्होंने एशिया प्रशांत क्षेत्र में बदलते सुरक्षा माहौल के मद्देनजर कहा कि अमेरिका का रक्षा मंत्रालय पुनर्संतुलन के अगले चरण पर काम कर रहा है। कार्टर ने कहा, ‘हम इस पूरे बहुत महत्वपूर्ण क्षेत्र में अमेरिकी बल की स्थिति को बढ़ा रहे हैं ताकि वह समुद्र से, हवा में और पानी के भीतर अहम भूमिका निभाना जारी रखे। इसके साथ ही हम अपनी स्थिति को भौगोलिक आधार पर अधिक वितरित, संचालनात्मक रूप से अधिक लचीली और राजनीतिक रूप से अधिक सतत बना रहे हैं।’

उन्होंने कहा, ‘ऐसा करने के लिए हम एशिया प्रशांत के लिए सर्वश्रेष्ठ लोगों और मंचों को आगे ला रहे हैं, हम क्षेत्र में अमेरिकी सैन्य बलों की संख्या ही नहीं बढ़ा रहे बल्कि वहां हमारी सबसे विकसित क्षमताओं को भेज रहे हैं और तैनात कर रहे हैं।’

कार्टर ने कहा कि पेंटागन अपने जवानों को उत्तरी ऑस्ट्रेलिया और फिलिपीन में नए स्थलों जैसे नए एवं अधिक स्थानों पर बारी-बारी से तैनात करके और जापान एवं कोरिया गणराज्य में अपने मौजूदा पदचिह्नों के आधुनिकीकरण के जरिए अमेरिका की क्षेत्रीय बल स्थिति को 21वीं सदी में लेकर जा रहा है। उन्होंने कहा कि 2017 के रक्षा बजट में अमेरिका पुनर्संतुलन के लिए अहम निवेश कर रहा है।

कार्टर ने कहा, ‘इनमें से हम अपनी नौसेना के बेड़े में निवेश कर रहे हैं। यह बेड़ा हमारे बजट में पोतों की संख्या के मामले में विकास कर रहा है और सबसे अधिक महत्वपूर्ण बात यह है कि यह अपनी क्षमताओं मे विकास कर रहा है ताकि विरोधियों को रोका जा सके या नहीं, वे नहीं रुकते हैं तो सबसे आधुनिक नौवहन विरोधी तक को भी हराया जा सके और उस समुद्री सुरक्षा की रक्षा की जा सके जिस पर हम सभी निर्भर करते हैं।’

उन्होंने कहा, ‘हम अपनी पोतों की क्षमताओं को किस प्रकार तेजी से घातक बना रहे हैं, इसका एक उदाहरण एसएम-6 मिसाइल के उत्पादन को अधिकतम करना है। यह मिसाइल हमारी उन सबसे आधुनिक और सक्षम युद्धक सामग्रियों में से एक है, जिनके पास अब एक दम नई पोत विरोधी क्षमता भी है।’ कार्टर ने कहा कि अमेरिका हवा में अपनी श्रेष्ठता और वैश्विक पहुंच को सुनिश्चित करने के लिए भी निवेश कर रहा है। उसने नए बी-21 लॉन्ग रेंज स्ट्राइक बॉम्बर के लिए 12 अरब डॉलर से अधिक रकम निर्धारित की है।

अमेरिका पहले से अपने आधिपत्य वाली समुद्र के नीचे की क्षमताओं में अगले साल 60 अरब डॉलर से अधिक का निवेश कर रहा है ताकि यह सुनिश्चित हो सके कि उसके पास विश्व में समुद्र के नीचे और पनडुब्बी रोधी सबसे घातक एवं सर्वाधिक विकसित बल हो। उन्होंने कहा, ‘हम साइबर, इलेक्ट्रॉनिक युद्ध और अंतरिक्ष क्षमताओं में भी नए निवेश कर रहे हैं। हम अगले साल कुल 34 अरब डॉलर का निवेश करेंगे।’