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12 फरवरी को विधानसभा में आम बजट पेश करेंगे सीएम।

अखिलेश के बजट में यूथ मांग रहे इनोवेशन के मौके, फीमेल्स को चाहिए सेफ्टी एश्योरेंस

12 फरवरी को विधानसभा में आम बजट पेश करेंगे सीएम।
12 फरवरी को विधानसभा में आम बजट पेश करेंगे सीएम।

लखनऊ। यूपी विधानसभा का बजट सेशन चल रहा है। 12 फरवरी को अखिलेश यादव आम बजट पेश करेंगे। बजट से सबको बड़ी उम्मीदें होती हैं। हर तबका चाहे वह यूथ, बिजनेसमैन, दुकानदार, हाउस वाइफ या पेशेंट हो, अपने लिए कुछ न कुछ एक्सपेक्ट करता है।

– आईईटी में बीटेक के स्टूडेंट आकाश ने बताया कि सीएम अखिलेश यादव यूथ के आइकॉन हैं। इसलिए यूथ को उनसे काफी उम्मीदें हैं।
– यूथ की एक्सपेक्टेशन है कि इस बजट में उन्हें इनोवेशन को प्लैटफार्म देने की नई पहल होनी चाहिए, ताकि उनके स्किल को प्लैटफॉर्म मिले।
– यूथ की एक्सपेक्टेशन है कि ज्यादा ट्रिपल आईटी सेटअप किए जाएं, ताकि क्वालिटी टेक्निकल एजूकेशन मिल सके।
– इस बजट में यूथ जॉब अपॉर्चुनिटी के बढ़ने का भी इंतजार कर रहा है।
– आईआईएम में पढ़ने वाले मनीष मेश्राम का मानना है कि गवर्मेंट को मैनेजमेंट सेक्टर में काम करने की जरूरत है। इसके साथ ही इंट्राप्रेन्योर बनने का सपना देखने वाले यूथ के लिए भी बजट में कुछ खास होना चाहिए।
– एलयू में पढ़ने वाली साक्षी अग्रवाल को उम्मीद है कि सरकार ने पिछले बजट में सूबे की बेसिक एजूकेशन को इंप्रूव करने की बात कही थी, जो अभी भी खस्ताहाल है। इसलिए सूबे की क्वालिटी एजूकेशन को इम्प्रूव करने के लिए कुछ बेहतर करना चाहिए।
बिजनेसमैन को क्या चाहिए?
– अपकमिंग बजट में बिजनेसमैन राजुल सिंह को उम्मीद है कि यूपी में दादरी नोएडा गाजियाबाद की तर्ज पर और भी इन्वेस्टमेंट एरिया बनाये जाएंगे। इससे बिजनेस को नई दिशा मिल सके।
– सूबे में बिजनेसमैन्स के साथ साथ यंग इंट्रप्रेन्योरशिप को भी बढ़ावा मिलना चाहिए।
– लखनऊ रूरल में रहने वाले आशीष सिंह को सीएम से ग्रामोद्योग रोजगार योजना में स्टार्टअप बजट की उम्मीद है। उनका मानना है कि इससे बड़ा फायदा होता है, इंडस्ट्री एक व्यक्ति लगाता है, लेकिन फायदा कई परिवारों को होता है। इसलिए इसके लिए एक्स्ट्रा बजट होना चाहिए।
– इसके साथ ही रूरल एरिया में सरकार को उभरते इंट्रप्रेन्योर्स को ध्यान में रखकर बिजली पानी का इंतजाम करना चाहिए।
दुकानदारों को भी है बजट का बेसब्री से इंतजार
– इंदिरानगर में किराना की दुकान चलाने वाले मनोहर शुक्ला ने बताया कि हमें सबसे ज्यादा दिक्कत गुड्स के ट्रांसपोर्टेशन में होती है। बड़ा ऑर्डर आने पर डिलीवरी इतनी महंगी हो जाती है कि मार्जिन बमुश्किल ही निकल पाता है। उम्मीद है कि सरकार ट्रांसपोर्टेशन को सस्ता करेगी।
-मनोहर शुक्ला का मानना है कि पॉलीथीन के अचानक बैन से भी काफी नुकसान हुआ है। उम्मीद है कि सरकार इसके लिए कोई ऐसा इंतजाम करेगी, जिससे फंसी रकम वापस निकल सके।
-मोबाइल कारोबार से जुड़े संदीप यादव का कहना है कि ऑनलाइन मोबाइल और दूसरे प्रोडक्टस की बिक्री पर टैक्सेशन में रीबेट के चलते बिजनेस पर बुरा असर पड़ता है। इसलिए ऑनलाइन टैक्सेशन सिस्टम भी होनी चाहिए।
हाउस वाइफ को चाहिए महंगाई से निजात
-गोमतीनगर में रहने वाली सुलेखा पांडे की मानें, तो बजट से सबसे ज्यादा उम्मीद महिलाओं को होती है।
– उन्हें उम्मीद है कि इस बजट में किचन का बिगड़ता बजट कुछ संभलेगा।
-सुलेखा का कहना है कि अगर इस बजट में रसोई गैस और रसोई के अन्य समानों के दामों में गिरावट आए, तभी वह इसे आम इंसान का बजट मांनेंगी।
– वह इस बजट में महिलाओं की सुरक्षा में इजाफा और नियमों के कड़े इंम्लीमेंटेशन की भी बाट जोह रही हैं।
मरीजों के लिए इंसटैंट मेडिकल हेल्प की हो व्यवस्था
– डॉ अशोक सिंह का मानना है कि वैसे तो मरीजों के लिए काफी सुविधाएं हैं, लेकिन फिर भी अभी बहुत कुछ किया जाना बाकी है।
– उनका मानना है कि मरीज को इमरजेंसी कंडीशंस में इंस्टैंट हेल्प के साधनों में इजाफा किया जाए।
– दवा कारोबारी नीलेश जैन बताते हैं कि दवाओं की डुप्लीकेसी रोकनी चाहिए और दवा कारोबारियों को फ्री ट्रेड की परमिशन होनी चाहिए।
यूपी सरकार बजट के जरिए योजनाओं पर चढ़ाएगी समाजवादी रंग
– सपा नेता राम सिंह राणा के मुताबिक, सीएम की ओर से जो भी योजनाएं चलाई जा रही हैं, उनका एक मात्र उद्देश्य है कि हर वर्ग के लोगों को इन योजनाओं का फायदा मिले।
– उनके मुताबिक, समाजवादी योजनाओं से ही सूबे का भला होता आया है। उम्मीद है कि इस बजट में भी बजट योजनाओं पर समाजवादी रंग का असर दिखेगा।
-सपा के सूत्रों की मानें, तो अखिलेश सरकार अपने कार्यकाल के आखिरी दौर में बजट के जरिये बड़ा दांव खेलने की तैयारी में है।
-चुनावी बजट में कोशिश होगी कि समाजवादी नाम से कई नई-पुरानी योजनाओं का नामकरण किया जाए, जिससे बजट पर ‘समाजवादी रंग’ और चढ़ सके।
बजट में क्या कर सकती है सरकार?
-सरकार लखनऊ के अलावा कानपुर और वाराणसी मेट्रो परियोजना की शुरुआत करेगी।
-वहीं मिड डे मील में अतिरिक्त पुष्टाहार के तौर पर हफ्ते में एक दिन फल बांटे जाएंगे।
-किसानों के खेतों पर 6000 सोलर फोटो वोल्टिक पंप लगाने की योजना है।
– सीएम फूड प्रोसेसिंग मिशन प्लान लागू करने की भी तैयारी है।
– सपा के मैनिफेस्टो में दर्ज वित्तविहीन स्कूलों के टीचरों को मानदेय देने का वादा पूरा करने के लिए सरकार रकम का प्रावधान करेगी।
– समाजवादी पेंशन योजना के लिए 55 लाख रुपए दिए जाने का अनुमान है।
-सरकार राज्य ग्रामीण पेयजल योजना के तहत बजट में 2000 करोड़ रुपए रख सकती है।
-शहरों की तरह ग्रामीण क्षेत्रों में बिजली के बिल और कनेक्शन की सुविधा आनॅलाइन करने की तैयारी है।
-हथकरघा बुनकरों को पेंशन दी जा सकती है।
-लोहिया ग्रामीण आवास योजना में लाभार्थी को 3.05 लाख रुपए दिए जा सकते हैं।
-इस पर 1,778 करोड़ रुपए का खर्च आने का अनुमान है।
– गांवों में करीब पौने दो लाख मुफ्त बोरिंग कराने की योजना है। 163.13 करोड़ रुपए से 10,662 मध्यम गहरे नलकूप बनाने की तैयारी है।
– समाजवादी पेंशन योजना, समाजवादी स्वास्थ्य बीमा योजना, समाजवादी पौष्टिक आहार योजना, समाजवादी आवास योजना जैसीतमाम योजनाओं में भरपूर पैसे का बंदोबस्त किया जाएगा।
-पूर्वाचल एक्सप्रेस वे में समाजवादी शब्द जोड़कर सालभर में उसका निर्माण शुरू कराने की तैयारी है। इसके लिए पहली बार 500 करोड़ रुपए रखे जाने की उम्मीद है।